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पढ़िये नवीन रोचक लेख हिन्दी में

V से विज्ञान और वाइरस

क्रिया प्रतिक्रिया का नियम मेरे ख्याल में एक मात्र ऐसा विज्ञान का सिद्धान्त होगा जो कि एक दम कोरोना से मेल खाता है, केवल एक दो नहीं बल्कि कई मायनों में। अब देखिये क्रिया प्रतिक्रिया ही एक मात्र ऐसा कान्सेप्ट है जो हर एक वर्ग, हर एक जाति अनपढ़ गंवार गांव शहर; हर जगह

गूगल ऐड या फेसबुक ऐड दोनों में कौन बेहतर ?

किसी भी व्यापार को सफल बनाने में ‘विज्ञापन‘ के महत्त्व को नज़रअंदाज़ नहीं किया जा सकता। अख़बार के माध्यम से वर वधु की तलाश करना भी विज्ञापन कहलाता है। नौकरी या साक्षात्कार के लिए भी विज्ञापन उपयोगी है। किसी प्रकार की सरकारी सूचना में भी विज्ञापन का इस्तेमाल किया जाता है। हमारे जीवन में

निमकी – हिंदी कहानी

सन 1949-50, गांव के किसान ‘मंगत राम‘ अपनी बेटी ‘निमकी‘ का ब्याह दूर एक दूसरे गांव के किसान पुत्र ‘हरिओम‘ से कर रहे थे।यह वो दौर था जब भारत में बाल विवाह का होना एक सामान्य बात हुआ करती थी। घर में ब्याह के लोक गीतों का कार्यक्रम जारी था; बूढ़ी व जवान महिलाएं

सच्ची कहानी – परिणाम

इस कहानी के पात्र वास्तविक नहीं है, लेकिन कहानी सच्च और जूठ का परदाफास करती है। जो हठ साधना है साधु संतो की, बहुत कठिन होती है, उन्हें कई दिन भूखे-प्यासे रहकर सत्य को सामने लाना पड़ता हैं। वो ऐसे काम कर जाते है जो उनकी दुनियाँ के ही बस की बात होती है,

जीवन दर्शन: आनंद एक खोज

20 मार्च से पूर्व हमारे पास वक़्त की बेहद कमी थी।फिर अचानक कुछ ऐसा हुआ कि सरकार ने घोषणा करते हुए 20 से 25 दिनों तक का लंबा वक़्त हमें दे दिया। वहज जानी पहचानी है जिसका नाम है ‘कोरोना’, एक चाइनीज महामारी। इस लंबे वक़्त को पाकर क्या आप उत्साहित हैं ?क्या आप

मज़दूर गाथा: लॉक डाउन, पलायन और हक़ीक़त

देश की राजधानी दिल्ली का कुल क्षेत्रफल 573 वर्ग मील है अर्थात 1,484 स्क्वायर किलोमीटर। जिसमें से 302 वर्ग मील भाग ग्रामीण और 270 वर्ग मील भाग शहरी माना जाता है। आँकड़े को प्रतिशत में बदलें तो करीब 52.71% हिस्सा ग्रामीण और 47.12% हिस्सा शहरी नज़र आता है। ध्यान रहे, 47.12% के शहरी हिस्से

ऑर्गेनिक ज़िन्दगी

श्री ‘कोरोना वायरस’ और सरकारी ‘लॉक डाउन’ के बीच फ़िलहाल मेरा समय बीत रहा है।सच कहूं तो लॉक डाउन मेरे जीवनशैली के अनुरूप है यानि मैं ज्यादा घुमक्कड़ प्रवृत्ति का नहीं हूँ। सामान्यतः मेरा मन बाहर कहीं तफ़रीश करने को करता ही नहीं, फिर वो चाहे शनिवार या रविवार की छुट्टी का दिन ही

बवाल-ए कोरोना: चिंता विमर्श

हाय रे कोरोना उर्फ़ कोविड-19, ई चाइना वाले कब से असली माल बनावे लागे बे ! इनकर डुप्लीकेट अउर नकली माल का सेहत पर आज तक कउनो गलत प्रभाव नाय पड़ा, मगर जबसे “कोरोना” नाम का असली आइटम बनावा है, साला..तबे से सबकर सेहत डांवां-डोल होई गा है। देखो भईया ‘जि-पिंग’ आप असली समान

निर्भया तुम जिंदा हो – हिंदी कविता

निर्भया के दोषियों को हुई फांसी…। यह खबर सुनते ही एक संवेदनशील पीड़ा, खुशी व सुकून की भावना एक साथ मन में उमड़ पड़ी, देर से ही सही किन्तु न्याय हुआ। जब-जब दोषियों की दया याचिका कोर्ट के समक्ष पेश की जाती और उनके वकील सारे कानूनी दांव पेंच लगाकर उन्हें बचाने में लग

कोरोना का रोना मत रोना – हिंदी कविता

हिंदी कविता – “कोरोना का रोना मत रोना” कोरोना का रोना मत रोना,मिलकर करो इस पर प्रहार।सावधानी बरतो सुरक्षित रहो, और करो इसका संहार। प्रिवेंशन इज बेटर देन क्योर,सावधानी रखो और हो जाओ श्योर।इस वायरस का होगा अंत,ढलेगी निशा और होगी भोर। मास्क का इस्तेमाल करो और,सैनिटाइजर का करो प्रयोग।सफाई का रखो ध्यान,कोरोना का